Friday, August 1, 2025
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हिमाचल में महिलाओं को मिला नाइट शिफ्ट में काम करने का अधिकार, कैबिनेट ने दी मंजूरी

शिमला 

मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की अध्यक्षता में  हुई हिमाचल प्रदेश मंत्रिमंडल की बैठक में कई अहम फैसले लिए गए। सबसे बड़ा निर्णय करुणामूलक आधार पर आश्रितों को नौकरी देने को लेकर हुआ, जिसके तहत 500 पदों को भरने की मंजूरी दी गई है। पात्रता की वार्षिक आय सीमा भी ढाई लाख रुपये से बढ़ाकर तीन लाख रुपये कर दी गई है। इसके अलावा 45 वर्ष से कम उम्र की विधवाओं और अनाथ बच्चों को प्राथमिकता देने का फैसला लिया गया है।

कामकाजी महिलाओं के लिए बड़ा फैसला

कामकाजी महिलाओं के हित में सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। अब निजी संस्थानों में महिलाएं स्वेच्छा से 12 घंटे तक काम कर सकेंगी। इसके साथ ही, दुकानों और व्यावसायिक प्रतिष्ठानों में रात 7 बजे से सुबह 7 बजे तक महिलाओं को नाइट शिफ्ट में काम करने की अनुमति दे दी गई है। इस दौरान उन्हें मातृत्व लाभ अधिनियम के तहत सभी सुविधाएं उपलब्ध होंगी।

स्वास्थ्य शिक्षा पर भी दिया ध्यान

स्वास्थ्य शिक्षा के क्षेत्र में भी कैबिनेट ने कई प्रस्तावों को मंजूरी दी। शिमला स्थित सिस्टर निवेदिता नर्सिंग कॉलेज में बीएससी नर्सिंग की सीटें 60 से बढ़ाकर 100 की गईं। टांडा के राजेंद्र प्रसाद मेडिकल कॉलेज में नया नर्सिंग कॉलेज स्थापित किया जाएगा जिसमें 60 सीटें होंगी। इसके संचालन के लिए 27 नए पद स्वीकृत किए गए हैं। साथ ही बीएड का कॉमन एंट्रेंस टेस्ट अब हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित किया जाएगा।

ऊर्जा क्षेत्र में कैबिनेट ने हिम ऊर्जा के तहत वर्षों से अटकी 172 लघु जल विद्युत परियोजनाओं को रद्द करने का बड़ा फैसला लिया है। पांच मेगावाट तक की नई परियोजनाओं में 12% मुफ्त बिजली रॉयल्टी और 1% स्थानीय विकास कोष देना अनिवार्य किया गया है। 22 बड़ी परियोजनाएं भी रद्द कर दी गई हैं और शेष को जवाब देने के लिए 5 अगस्त तक का समय दिया गया है। इसके साथ ही HPPCL की कर्ज सीमा 5000 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 6200 करोड़ रुपये कर दी गई है।

अन्य फैसलों में शिमला-धर्मशाला-शिमला हवाई सेवा को एक साल के लिए बढ़ाया गया है और कांगड़ा हवाई अड्डे के भूमि अधिग्रहण की समयसीमा अगस्त 2026 तक बढ़ा दी गई है। नालागढ़ में बनने वाले मेडिकल डिवाइस पार्क पर मंत्रिमंडलीय उप-समिति गठित की गई है। साथ ही धौलाकुआं माजरा क्षेत्र के लिए विकास योजना को स्वीकृति और नशे की स्थिति पर एक विस्तृत प्रस्तुति भी दी गई। इन सभी फैसलों से राज्य के रोजगार, स्वास्थ्य, शिक्षा और विकास को मजबूती मिलने की उम्मीद है।

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