Saturday, December 6, 2025
Homeमध्य प्रदेशमध्य प्रदेश के सभी जिलों में होंगे ‘एकेडमिक ट्रिब्यूनल’, शिक्षकों की शिकायतों...

मध्य प्रदेश के सभी जिलों में होंगे ‘एकेडमिक ट्रिब्यूनल’, शिक्षकों की शिकायतों का तुरंत समाधान; हाईकोर्ट ने मांगी चार सप्ताह में रिपोर्ट

ग्वालियर 

हाईकोर्ट की ग्वालियर खंडपीठ ने  एक अहम मामले में सुनवाई करते हुए बड़ा फैसला लिया है। सुनवाई के दौरान प्रदेश के हर जिले में प्राइवेट एकेडमिक और शिक्षा संस्थानों के शिक्षकों की शिकायत व समस्याओं के समाधान के लिए एकेडमिक ट्रिब्यूनल। 

हाईकोर्ट ने मध्य प्रदेश सरकार से इस संबंध में चार सप्ताह में प्रोग्रेस रिपोर्ट मांगी है। एकेडमिक ट्रिब्यूनल बनने के बाद शिक्षकों की समस्याओं पर सुनवाई और निराकरण यहीं हो सकेगा। इस मामले में अगली सुनवाई 14 जनवरी 2026 को रखी गई है।

निजी शैक्षणिक संस्थानों के शिक्षकों की समस्याओं को लेकर एक जनहित याचिका हाईकोर्ट की ग्वालियर खंडपीठ में दायर की गई थी। यह जनहित याचिका इस उद्देश्य से दायर की गई थी कि सुप्रीम कोर्ट के प्रसिद्ध फैसले “टीएमए पे फाउंडेशन’ बनाम स्टेट ऑफ कर्नाटक (2002) के निर्देशों का पालन किया जाए।

इस केस में भी फैसले में स्पष्ट कहा गया था कि राज्य के प्रत्येक जिले में एक एकेडमिक ट्रिब्यूनल होना ही चाहिए, जहां प्राइवेट एकेडमिक इंस्टीट्यूट के शिक्षक अपनी शिकायत लेकर आ सकें और उनका निराकरण किया जा सके। इस दौरान याचिकाकर्ता की ओर से कोर्ट में हरियाणा सरकार का उदाहरण पेश किया गया है।

बताया गया है कि हरियाणा गर्वमेंट ने 8 सितंबर 2025 को एक अधिसूचना जारी कर दी है। जिसमें जिला एवं सत्र न्यायाधीशों को टेक्निकल एजुकेशन से जुड़े सहायता प्राप्त और गैर सहायता प्राप्त संस्थानों के कर्मचारियों की अपील सुनने के लिए अधिकृत किया गया है। यह मॉडल मध्यप्रदेश में भी लागू किया जा सकता है।

ट्रिब्यूनल के गठन तक अंतरिम व्यवस्था की जा सकती है हाईकोर्ट में दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान राज्य सरकार की ओर से अतिरिक्त महाधिवक्ता ने कोर्ट को बताया कि 12 नवंबर 2025 को विधि विभाग द्वारा एक एसओपी/मैकेनिज्म तैयार कर रजिस्ट्रार जनरल को भेजा है। इसके आधार पर आगे कार्रवाई की जानी है। इस पर कोर्ट ने कहा कि जब तक प्रदेश स्तर पर एकेडमिक ट्रिब्यूनल तैयार नहीं होता है। तब तक जिला एवं सत्र न्यायाधीशों को अंतरिम व्यवस्था के तहत अपीलें सुनने के लिए अधिसूचित किया जा सकता है।

प्रदेश सरकार को चार सप्ताह में देना है रिपोर्ट याचिका पर सुनवाई के बाद हाईकोर्ट की बेंच ने मध्य प्रदेश सरकार को निर्देश दिए हैं कि वह चार सप्ताह में एकेडमिक ट्रिब्यूनल लागू करने की तैयारी पर एक कम्पलीट प्रोग्रेस रिपोर्ट पेश करे। जिससे स्पष्ट हो सके कि आदेशों के पालन में अभी तक क्या-क्या कदम उठाए गए हैं। यही कारण है कि इस मामले में अगली सुनवाई 14 जनवरी को रखी गई है।

 

RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Most Popular

Recent Comments